Friday, 6 November 2015

सूर्य उपासक पशुपाल गुर्जर आर्यो का इतिहास(History of Sun Worshipping Pastroal Gurjar Aryans)



सूर्य उपासक पशुपाल गुर्जर आर्यो का इतिहास(History of Sun Worshipping Pastroal Gurjar Aryans)
हट्टी,गुर्जर और कुर्द प्राचीन काल से सूर्य उपासक है।गुर्जर समाज प्राचीन समाज में से एक है।प्रसिद्ध इतिहासकरो के अनुसार गुर्जर मध्य एशिया के कॉकस क्षेत्र (अभी के आर्मेनिया और जॉर्जिया) से आए आर्य योद्धा थे। कुछ जानकार इन्हे विदेशी भी बताते है क्योन्कि गुर्जरो का नाम एक अभिलेख मे हूणों के साथ मिलता है। यह समुदाय गुज्जर, गूजर, गोजर, गुर्जर, गूर्जर और वीर गुर्जर नाम से भी जाना जाता है। मुख्यत: गुर्जर उत्तर भारत, पाकिस्तान और अफ़्ग़ानिस्तान में बसे हैं। इस जाति का नाम अफ़्ग़ानिस्तान के राष्ट्रगान में भी आता है। गुर्जरों के ऐतिहासिक प्रभाव के कारण उत्तर भारत और पाकिस्तान के बहुत से स्थान गुर्जर जाति के नाम पर रखे गए हैं, जैसे कि भारत का गुजरात राज्य, पाकिस्तानी पंजाब का गुजरात ज़िला और गुजराँवाला ज़िला और रावलपिंडी ज़िले का गूजर ख़ान शहर।
उत्पत्ति
गुर्जर अभिलेखो के हिसाब से ये सूर्यवंशी या रघुवंशी है। प्राचीन महाकवि राजसेखर ने गुर्जरो को रघुकुल-तिलक तथा रघुग्रामिणी कहा है। ७ वी से १० वी शतब्दी के गुर्जर शिलालेखो पर सुर्यदेव की कलाकर्तीया भी इनके सुर्यवन्शी होने की पुष्टि करती है। राजस्थान में आज भी गुर्जरो को सम्मान से 'मिहिर' बोलते है, जिसका अर्थ 'सुर्य' होता है। प्रसिद्ध इतिहासकरो के अनुसार गुर्जर मध्य एशिया के कॉकस क्षेत्र (अभी के आर्मेनिया और जॉर्जिया) से आए आर्य योद्धा थे। कुछ जानकार इन्हे विदेशी भी बताते है क्योन्कि गुर्जरो का नाम एक अभिलेख मे हूणों के साथ मिलता है।
संस्कृत के विद्वानों के अनुसार, गुर्जर शुद्ध संस्कृत शब्द है, जिसका अर्थ 'शत्रु का नाश करने वाला' अर्थात 'शत्रु विनाशक' होता है। प्राचीन महाकवि राजशेखर ने गुर्जर नरेश महिपाल को अपने महाकाव्य मे दहाडता गुर्जर कह कर सम्बोधित किया है।
कुछ इतिहासकर कुषाणों को गुर्जर बताते है तथा कनिष्क के रबातक शिलालेख पर अन्कित 'गुसुर' को गुर्जर का ही एक रूप बताते है। उनका मानना है कि गुशुर या गुर्जर लोग विजेता के रूप मे भारत मे आये क्योन्कि गुशुर का अर्थ 'उच्च कुलिन' होता हैI
मुदिराजा-कोली(चालुक्य /सोलंकी) इत्यादि द्रविड़ लोग भी प्राचीन काल से सूर्य- उपासक हैI
https://www.facebook.com/vinaykumar.madane/posts/713490772116674

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